मनोरंजनध्यान – झरना माथुरnewsadminJuly 3, 2022 by newsadminJuly 3, 20220149 कैसे ध्यान धरु मै तेरा, आशा तृष्णा ने मुझे घेरा। जब भी तेरे द्वार पे आऊँ , एक नयी मुराद लेके आऊँ, कम न...
मनोरंजनसिहोरा जबलपुर इकाई के तत्वावधान ऑनलाइन काव्य गोष्ठी आयोजितnewsadminJuly 3, 2022 by newsadminJuly 3, 20220176 neerajtimes.com जबलपुर- सिहोरा जबलपुर इकाई के तत्वावधान ऑनलाइन काव्य गोष्ठी आयोजित की गई जिसका विषय रखा गया साहित्य पर विचार* इस अनूठे विषय पर सभी...
मनोरंजनगजल – ऋतु गुलाटीnewsadminJuly 2, 2022 by newsadminJuly 2, 20220198 गम न सहना प्रेम के अधिकार सारे चुन लिये, जिंदगी जी आज तो उपहार सारे चुन लिये। आज की औरत पढी है,होशियारी से चले,...
मनोरंजन“थाम लेंगे कर तुम्हारे” – अनुराधा पाण्डेयnewsadminJuly 2, 2022 by newsadminJuly 2, 20220172 “याद है,तुमने कहा था ।” चोट खाकर मैं गिरूँगी,पंथ में जब भी किसी क्षण । “थाम लेंगे कर तुम्हारे”,याद है तुमने कहा था ? है...
मनोरंजनभारतीय सैनिक – जया भराडेnewsadminJuly 2, 2022 by newsadminJuly 2, 20220213 बच्चा क्या खेले, क्या खाए क्या सोचे, क्या पढ़े क्या सुनाए, क्या कहे, क्या सही क्या बताये, कैसी है दुनिया जैसी है वैसी ही तस्वीर...
मनोरंजनबेटी तो सबको प्यारी है – मणि बेन द्विवेदीnewsadminJuly 2, 2022 by newsadminJuly 2, 20220165 बारी है फुलवारी है बेटी तो सबको प्यारी है, चंदा जैसी शीतल बेटी सूरज सी उजियारी है। बेटी तो सबको प्यारी है ….. जगमग...
मनोरंजननेपाल की कवयित्री अमृता अग्रवाल प्रेरणा हिंदी सभा में शामिलnewsadminJuly 2, 2022 by newsadminJuly 2, 20220157 neerajtimes.com जबलपुर – अखिल भारतीय स्तर पर हिंदी का प्रचार प्रसार कर रही संस्था प्रेरणा हिंदी प्रचारणी सभा में कवयित्री अमृता अग्रवाल जनकपुर धाम नेपाल...
मनोरंजनमन आजाद परिंदा – सुनीता मिश्राnewsadminJuly 1, 2022 by newsadminJuly 1, 20220161 डर कब तक एक दूजे को बांधेगा मन आजाद परिंदा है थोड़ा सा जो भरमाया नीले गगन में उड़ जाएगा खुद के पंखों पर हमें...
मनोरंजनमज़दूर – ऋतुबाला रस्तोगीnewsadminJuly 1, 2022 by newsadminJuly 1, 20220215 मैं रोज सुबह चौराहे पर रहता खड़ा, ढूंढने को कोई रोजगार नया… रोज साथ लेकर चलता हूं कई बोझ दिल पर, शायद कभी मैं भी...
मनोरंजनचोरी चोरी , छुपके छुपके – गुरुदीन आज़ादnewsadminJuly 1, 2022 by newsadminJuly 1, 20220167 क्यों ऐसी क्या बात हुई, यहाँ कैसे मिले हम चलकर। छोड़ चमन क्यों ऐसे कहाँ, अब चल दिये पँछी बनकर।। चोरी चोरी छुपके छुपके ———(2)...