बीत गई गर्मी की छुट्टी, अब स्कूल जाने की बारी है।
हर्षित हो रहे सभी विद्यार्थी, शिक्षा की पूर्व तैयारी है।।
सब पढ़ें सब बढ़ें, सर्व शिक्षा अभियान का नारा है।
नन्हें-नन्हें फूल, चलें स्कूल, यह अधिकार हमारा है।।
मिलेंगे हम सहपाठियों से, अपना हाल-चाल बतायेंगे।
कैसे बीती ये छुट्टी, ननिहाल का किस्सा हम सुनायेंगे।।
शिक्षा का अधिकार के तहत, उम्र आधारित होगी प्रवेश।
निःशुल्क छात्रवृत्ति, पाठ्यपुस्तक, कापी और गणवेश।।
बजेगी जब स्कूल की घंटी, दौड़े-दौड़े शिक्षार्थी आयेंगे।
राजगीत, राष्ट्रगीत और राष्ट्रगान हम मिलकर गायेंगे।।
प्रार्थना में स्वच्छता की बातें, सवाल सामान्य ज्ञान का।
कालखंड में आयेंगे शिक्षक, मूल्यांकन लेंगे संज्ञान का।।
दैनिक जीवन की इबारती, खेलेंगे गणितीय जादुई खेल।
गीत, कविता और कहानी से, हिन्दी और बोली का मेल।।
विज्ञान से वैज्ञानिक बनेंगे, सीखेंगे भाषा अंग्रेजी विदेशी।
सामाजिक विज्ञान से अतीत, देववाणी संस्कृत स्वदेशी।।
माता अन्नपूर्णा का गीत गाकर, खायेंगे मध्यान्ह भोजन।
खेल-खेल में करके सीखेंगे, प्रयास हमारा रहेगा योजन।।
गृह कार्य के लिए प्रश्न लेकर, लौट आयेंगे शाम को घर।
सुबह चलो स्कूल चलें हम, जीवन प्रगति पथ की डगर।।
– अशोक कुमार यादव मुंगेली, छत्तीसगढ़