मनोरंजन

अलग है – जया भराड़े बड़ोदकर

सुबह की तुलसी,

अदरक की चाय,

शाम की कोल्ड ड्रिंक की तलब है।

सुबह की पूजा अर्चना

मंत्र की सुगंध,

शाम को जगजीत सिंह की ग़ज़ल है। .

सुबह की जिम वॉक,

और शाम के मित्र की गुफ्तगु अजब है

सुबह की गुड मॉर्निंग,

की मेसजे से भरी हुई\ प्लेट,

और शाम  संग फोटो में हर एक

एंजॉय की खबरहै।

सुबह की सैर और

शाम को बातों से भरी मुंडेर है,

ऐसी ही जिंदगी मे

सुकूंन भरी साँसे है,

पल पल खुशी मिले

और सुख शांति की नींद है।

अलग है इस युग की,

अब हर बात ही अलग है।

– जया भराडे बडॉदकर

नई मुंबई, कमोथे,  महाराष्ट्र

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