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नमन तिरंगे को – पूनम शर्मा

नमन तिरंगे को करके वीरों को शीश नवाती हूं,

हर शहीदों के सम्मुख में नतमस्तक हो जाती हूं।

प्राण गवा कर जिसने भारत को गौरव दिलवाया है,

उन्हीं की यादों में तिरंगा मैं बार-बार लहराती हूं।।

 

हमारी सभ्यता और संस्कृति ही हमारी पहचान है।

हम हिंदुस्तानी हैं इसका भी हमको अभिमान है।

विश्व गुरु हम कहलाए ये बात नहीं महान हैं।

गीता के सार में बसता जीवन का हर ज्ञान है ‌।।

– पूनम शर्मा स्नेहिल, जमशेदपुर

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